10वीं और 12वीं की बोर्ड परीक्षाएं अगले साल से वर्ष में दो बार आयोजित की जाएगी इसके लिए केंद्रीय माध्यमिक शिक्षा बोर्ड को तैयारी करने को कहा गया है।
केंद्रीय शिक्षा मंत्रालय द्वारा केंद्रीय माध्यमिक शिक्षा बोर्ड से शैक्षणिक सत्र 2025-26 से वर्ष में दो बार बोर्ड परीक्षाएं करने की तैयारी को कहा गया है सूत्रों के अनुसार सेमेस्टर प्रणाली शुरू करने की योजना को खारिज कर दिया है सीबीएसई वर्तमान में इस बात पर कार्य कर रहा है कि स्नातक प्रवेश कार्यक्रम को प्रभावित किए बिना एक और बोर्ड परीक्षा को समायोजित करने के लिए अकादमिक कैलेंडर को कैसे तैयार किया जाएगा।
शैक्षणिक सत्र 2025-26 से साल के अंत में बोर्ड परीक्षाओं के दो संस्करण आयोजित करने का विचार किया जा रहा है लेकिन तौर तरीकों पर अभी भी काम करने की जरूरत है यह निर्णय छात्रों के अच्छे प्रदर्शन पर्याप्त अवसर के लिए लिया गया है हालांकि आधिकारिक तौर पर अभी घोषणा नहीं की गई है।
मंत्रालय की प्रारंभिक योजना शैक्षणिक सत्र 2024-25 से साल में दो बार बोर्ड परीक्षाएं शुरू करने की थी हालांकि इसे एक साल आगे बढ़ा दिया गया है केंद्र सरकार द्वारा नियुक्त एक समिति द्वारा तैयार नया राष्ट्रीय पाठ्यक्रम ढांचा (एनसीएफ) ने 11वीं और 12वीं कक्षा के छात्रों के लिए राष्ट्रीय शिक्षा नीति (एनईपी) 2020 के अनुरूप एक सेमेस्टर प्रणाली का प्रस्ताव रखा है समिति का नेतृत्व भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (इसरो) के पूर्व अध्यक्ष के. कस्तूरीरंगन ने किया था।
केंद्रीय शिक्षा मंत्री धर्मेंद्र प्रधान ने पिछले वर्ष अक्टूबर में एक इंटरव्यू में ‘पीटीआई भाषा’ को बताया था कि छात्रों के लिए साल में दो बार बोर्ड परीक्षा देना अनिवार्य नहीं होगा उन्होंने कहा था छात्रों के पास इंजीनियरिंग प्रवेश परीक्षा जेईई की तरह साल में दो बार (कक्षा 10वीं और 12वीं बोर्ड) परीक्षा में बैठने का विकल्प होगा वे सर्वश्रेष्ठ स्कोर चुन सकते हैं लेकिन यह पूरी तरह से वैकल्पिक होगा और कोई बाध्यता नहीं होगी।